बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के पठित धारा 35 ए के अंतर्गत निदेश– दी मडगाँव अर्बन को-आपरेटिव बैंक लि., मारगाँव, गोवा - अवधि का विस्तार - आरबीआई - Reserve Bank of India
बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के पठित धारा 35 ए के अंतर्गत निदेश– दी मडगाँव अर्बन को-आपरेटिव बैंक लि., मारगाँव, गोवा - अवधि का विस्तार
29 अप्रैल 2020 बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के पठित धारा 35 ए के अंतर्गत निदेश– दी मडगाँव अर्बन को-आपरेटिव बैंक लि., मारगाँव, गोवा को दिनांक 26 अप्रैल 2019 के निदेश के माध्यम से दिनांक 2 मई 2019 को कारोबार समाप्ति से छह महीनों के लिए निदेशाधीन रखा गया था। उक्त निदेश की वैधता दिनांक 30 अक्टूबर 2019 के निदेश के माध्यम से दिनांक 2 मई 2020 तक बढ़ाई गई थी। जन साधारण के सूचनार्थ एतदद्वारा सूचित किया जाता है कि भारतीय रिज़र्व बैंक, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 35 ए में निहित शक्तियों का प्रयोग करते हुए यह निदेश देता है कि दिनांक 26 अप्रैल 2019 के निदेश के माध्यम से दी मडगाँव अर्बन को-आपरेटिव बैंक लि., मारगाँव, गोवा को जो निदेश जारी किया था जिसे समय-समय पर संशोधित किया गया था और जिसकी वैधता अंतिम रूप से दिनांक 2 मई 2020 तक बढ़ाई गई थी, उक्त बैंक पर दिनांक 24 अप्रैल 2020 के निदेश के माध्यम से दिनांक 3 मई 2020 से दिनांक 2 अगस्त 2020 तक अगले तीन महीनों के अवधि के लिए लागु रहेगी तथा ये निदेश समीक्षाधीन रहेंगे। संदर्भाधीन निदेश के अन्य नियम और शर्ते अपरिवर्तित रहेंगी। उपरोक्त वैधता को सूचित करनेवाले दिनांक 24 अप्रैल 2020 के निदेश की एक प्रति बैंक के परिसर मे जनता की सूचना के लिए लगाई गई है। (योगेश दयाल) प्रेस प्रकाशनी : 2019-2020/2289 |
पृष्ठ अंतिम बार अपडेट किया गया: null